DigiGOV Portal में वेंडर कैसे बनायें

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2003

How To Make Vendor On DigiGov Portal: आईये आर्टिकल प्रारम्भ करने से पहले SBI DigiGov से सम्बंधित कुछ महत्वपूर्ण जानकारी जो आपको जानने चाहिए पिछले सत्र में मध्य प्रदेश सरकार के अंतर्गत संचालित सरकारी विद्यालयों फण्ड मैनेजमेंट के समाधान हेतु एक पोर्टल जारी किया गया था जिसका नाम है SBI DigiGov विद्यालयों को वर्षभर संचालित करने के लिए शिक्षा विभाग द्वारा अनुदान प्रदान किया जाता रहा है पहले सीधे विद्यालय के बैंक खाते में राशि ट्रांसफर की जाती थी जबकि अब SBI के SBI DigiGov पोर्टल के माध्यम से। तो चलिए इस लेख में जानते हैं पोर्टल में लॉगिन करने के बारे में एवं अन्य जानकारियों के बारे में।

इस पोर्टल पर आरी राशि के प्रबंधन के लिए खासतौर पर तीन प्रबंधक बनाये गए है
मेकर : मेकर का काम बिल जनरेट करना होता है
अप्रूवर : मेकर द्वारा जनरेट बिल की वेरीफाई करना अप्रूवर का काम होता है
वेरिफायर : अप्रूवर द्वारा वेरीफाई बिल को वेरीफाई करते हुए राशि को संबधित वेंडर को OTP के माध्यम से अप्रूव करना।

हालाँकि प्राथमिक और माध्यमिक विद्यालयों के लिए केवल दो ही प्रबंधक मेकर एवं अप्रूवर से बिलों का भुगतान संभव है लेकिन हाई स्कूल एवं हायर सेकेंडरी के लिए तीनों प्रबंधकों का होना आवश्यक है | ये प्रबंधक आपके ही साथ आपके विद्यालय में पढ़ाने वाले या कार्य करने वाले कोई भी कर्मचारियों को बनाया जाता है विद्यालय जो एक शिक्षकीय शाला हैं उनमें आसपास के विद्यालय में कार्यरत शिक्षक को बनाया जा सकता है इसके लिए आप अपने जनशिक्षक से जानकारी ले सकते हैं|SBI DigiGov पोर्टल में वेरिफायर शाला प्रभारी होते हैं|

तीनों प्रबंधकों को पोर्टल पर लॉगिन करने के उद्देश्य से एक आईडी पासवर्ड प्रदान किया गया है जो इस प्रकार का होता है मान लीजिये आपका यूनिक कोड AV1234 है तो सामान्यतः आपकी लॉगिन आईडी (यूजर नेम) RSKMP_AV1234 होगा | आपका यूनिक कोड BU4565 है तो आपकी लॉगिन आईडी (यूजर नेम) RSKMP_4565 होगा एवं अलग से एक पासवर्ड दिया जायेगा जिसकी सहायता से आप लॉगिन कर सकते हैं|

पोर्टल में भुगतान करने के लिए वेंडर की आवश्यकता होती है। वेंडर का मतलब दुकानदार जिसे आप भुगतान करना चाहते हैं ऐसा नहीं है की हर दुनकानदार को हर स्कूल के लिए वेंडर बनाना होता है एक बार वेंडर बन जाने के बाद उसमे पेमेंट किया जा सकता है चाहे वव दुकानदार किसी भी स्कूल के माध्यम से वेंडर बनाया गया हो।
इसलिए वेंडर बनाने से पहले एक बार सामने वाले से पूछ लें या सर्च कर लें की कही पहले से वेंडर तो नहीं बना है यदि न बना हो तभी वेंडर रजिस्टर करें। वेंडर कैसे बनाना है इसकी जानकारी स्टेप बाय स्टेप दी जा रही है।

How Make Vendor On DigiGov Portal

STEP 1: वेंडर आईडी केवल मेकर लॉगिन से ही बनायीं जा सकती है इसलिए वेंडर बनाने के लिए सबसे पहले DigiGov पोर्टल में मेकर आईडी से लॉगिन करना होगा। लॉगिन करने के लिए DigiGov पोर्टल लॉगिन आईडी और पासवर्ड का उपयोग करें। जैसे लॉगिन आईडी होती है RSKMP_AV7430

लॉगिन की जानकारी के लिए यहाँ क्लिक करें SBI DigiGov में लॉगिन कैसे करें? और यदि आप पासवर्ड भूल गए हैं तो यहाँ से जानकारी लेवें DigiGOV Portal Password Reset Process हिंदी में

STEP 2: लॉगिन करते ही स्क्रीन में SBI CSS डैशबोर्ड ओपन होता है जिसमे शाला को एलोकेटेड फण्ड की जानकारी के साथ आपके द्वारा अभी किये गए व्यय की जनकारी स्क्रीन पर दिखाई देती है।अब किसी को वेंडर बनाने के लिए आपको MY MODULE पर क्लिक करना होता है

STEP 2: my module में क्लिक करने पर कई विकल्प ओपन होते हैं जिसमे से आपको Vendor Management पर क्लिक करना होता है

STEP 3: नया वेंडर बनाने के लिए Manage – vendor With PFMS लिंक पर क्लिक करें।

STEP 4: अब नए वेंडर के लिए Add Vendor पर क्लिक करें

STEP 5: वेंडर टाइप में कमर्शियल, पर्सनल जैसे विकल्पों में सही चयन करते हुए वेंडर के जानकारी बैंक अकाउंट आईएफएससी के साथ दर्ज करें और सबमिट करने से पूर्व सभी जानकारी वेरीफाई करते हुए सबमिट करें। सबमिट करने के 5-7 दिनों में वेंडर आईडी बन जाती है उसके बाद आप उक्त Vendor को पेमेंट कर सकते हैं

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